Spread the love

आपका पशु बीमार तो नहीं है, ऐसे करें पहचान और बचाएं उनकी जान अपने पशुओं की करें सुरक्षा। बीमार है ये ज्यादातर पशुपालक पता नहीं कर पाते है। जब बीमारी बड़ा रुप ले लेती है तो पशुपालक को आर्थिक नुकसान उठाना पड़ता है। अगर पशुपालक कुछ बातों को ध्यान दे तो वो इतना पता तो कर ही सकता है की उसका पशु बीमार है। ये भी पढ़ें- गाय-भैंसों को बांझपन से बचाना है तो ऐसे रखें उनका ख्याल अगर पशु बीमार है तो सबसे पहले दूध उत्पादन पर असर पड़ता है। पशु गोबर पतला या फिर कड़ा करने लगता है। बीमार पशु के कान सीधे तने हुए न हो कर लटक जाते है। पशु के नाक के आसपास पानी की छोटी छोटी बुँदे बनना बंद हो जाती है। पेशाब में हल्की बदबू आने लगती है। पशु सांसें तेज लेता है या फिर बहुत धीमी हो जाती है। पशु के कान ठंडे पड़ जाते है। यदि पशु अपने सीगों को दीवार पे बार बार भड़कता हे तो उसके सीगो में कीड़े पड़ने की सम्भावना होती है। पशु झुंड की बजाय अलग-अलग या पीछे-पीछे चलता है। उसके बालों की चमक खो जाती है । वह जुगाली कम कर देता है या फिर बंद कर देता है। दुधारू पशु के दूध में अचानक कमी आ जाती है। जल्दी थक जाता है और बैठ जाता है। (डाॅ वीके सिंह, उन निदेशक पुशपालन विभाग, उत्तर प्रदेश से बातचीत के आधार पर) ये भी पढ़ें- योगी सरकार ला रही छह पशुओं की योजना, छोटे किसानों को होगा फायदा ये भी पढ़ें- जानवरों के साथ जानवर बनने की सज़ा: 50 रुपए जुर्माना


Spread the love

By udaen

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *